भगवन हो तुम by विशाल राजपूत
जो लफ्जो से ना बोला जाए वो एहसास हो तुम। मेरी हर बात का जवाब हो तुम। कभी ना मिलने वाला ख्वाब हो तुम। सुभा शाम तेरा नाम लू मेरा ज्ञान हो तुम। सही और गलत के बीच की पहचान हो तुम। हर मुश्किल का समाधान हो तुम। जन्म लिए उस बच्चे की पहली मुस्कान हो तुम। मां के रूप में दिया चमत्कार हो तुम। इसलिए तो इंसान नही भगवान हो तुम।